शान्तिगिरि कर्म पर आधारित जीवन को महत्व देता है: पनियन रविन्द्रन
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पोतनकोड: शान्तिगिरि आश्रम में गुरु ने सबसे ज़्यादा ज़ोर कर्म पर दिया है। अगर कर्म ठीक है तो सब कुछ उचित होगा। कर्म पर आधारित शान्तिगिरि का यह आदर्श पूरे संसार के लिए एक उदाहरण बन गया है, वरिष्ठ सी. पी. आई. नेता और भूतपूर्व सांसद पनियन रविन्द्रन ने आज कहा। श्री रविन्द्रन २४वें नव ओलि ज्योतिर्दिनम् से संबन्धित प्रतिनिधि सम्मेलन को संबोधित कर रहे थे।
गुरु के वाक्य का पालन कर के, मानव समाज के कल्याण हेतु कर्म करना ही शान्तिगिरि का आदर्श है। जो भी मत हो, मानव बनना सबसे ज़रूरी है। सारे मत भलाई का मार्ग ही दिखाते हैं, उन्होंने कहा। मत और जाति के भेद भाव से परे, सबको शान्तिगिरि में आने का अवसर प्राप्त है। शान्तिगिरि के संन्यासियों ने अपना जीवन गुरु को समर्पित किया है और वह एकचित्त हो मानव सेवा में लगे हैं। शान्तिगिरि की कोष़िक्कोड शाखा में निर्मित विश्व ज्ञान मन्दिरम् की बात करते हुए उन्होंने कहा कि उन्हें वहां जाने का मौका मिला था। हम देख सकते हैं कि शान्तिगिरि आश्रम विश्व भर में फैल रहा है। प्रतिनिधि सम्मेलन सुबह १० बजे शुरू हो कर दोपहर १.३० बजे संपन्न हुआ।